राजस्थान हाईकोर्ट ने राज्य सरकार के 13 मार्च, 2024 के उस आदेश को मनमाना व अवैधानिक मानते हुए रद्द कर दिया है। एकलपीठ ने यह आदेश कृष्णा शर्मा व 275 अन्य की याचिकाओं को मंजूर करते हुए दिए। राजस्थान हाईकोर्ट ने लाइसेंस अवधि बढ़ाकर शराब की दुकानों का 30 जून तक जबरन संचालन करवाने के राज्य सरकार के आदेश को मनमाना व अवैधानिक मानते हुए रद्द कर दिया। राज्य सरकार के 13 मार्च, 2024 को यह आदेश जारी किया था। साथ ही, सरकार से कहा कि गारंटी सहित अन्य जमा राशि 4 सप्ताह में याचिकाकर्ताओं को लौटा दी जाए, अन्यथा ब्याज देना होगा।
याधीश महेन्द्र कुमार गोयल ने कृष्णा शर्मा व 275 अन्य याचिकाओं को मंजूर करते हुए यह आदेश दिया। प्रार्थीपक्ष की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता आरबी माथुर ने कोर्ट को बताया कि राज्य सरकार ने आबकारी नीति 2024-25 के उठाव से वंचित रह गई शराब की दुकानों को मौजूदा लाइसेंसधारकों को ही 30 जून तक संचालित करने का आदेश दिया। याचिकाकर्ताओं ने कहा कि उनका 31 मार्च तक का ही अनुबंध था, आगे उनकी इच्छा पर ही लाइसेंस का नवीनीकरण किया जा सकता है। राज्य सरकार उनसे 3 महीने तक जबरन दुकानें संचालित नहीं करवा सकती।
हाईकोर्ट का आदेश, शराब दुकानों का जून तक जबरन लाइसेंस बढ़ाने का आदेश रद्द
